ई-लर्निंग क्या हैं? E-Learning इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों के माध्यम से की गई लर्निंग को ही ई-लर्निंग कहते हैं। सामान्य शब्दों में हम समझें तो हम जो भी Knowledge Online के आधार पर प्राप्त करते हैं। वो सब इसी के अंतर्गत आता हैं।
वर्तमान युग डिजिटल युग हैं। वर्तमान समय मे छोटे हो या बड़े सभी किसी न किसी माध्यम से ऑनलाइन लर्निंग करते हैं। इस ऑनलाइन शिक्षा को प्राप्त करने के साधन अनेक होते है। जैसे- Computer, Mobile Phone, Internet, Laptop आदि।

वर्तमान समय में ऐसी-ऐसी applications हैं। जिनके माध्यम से हम घर बैठे कक्षा का अनुभव ले सकते हैं। अनेक ऐसे अध्यापक हो गए हैं। जो बिना शिक्षक बने एक शिक्षक के दायित्वों की पूर्ति कर रहे हैं। आज हम इस पोस्ट के माध्यम से विस्तार से जानेंगे कि ई-लर्निंग क्या हैं और कहाँ से करें?
ई-लर्निंग क्या हैं? |What is E-Learning in Hindi
ई-लर्निंग (Electronic Learning) इंटरनेट या इलेक्ट्रॉनिक उपकरण (Tools) से प्राप्त किया गया वह ज्ञान हैं। जिसमें ज्ञान प्राप्त करने की और करवाने की कोई सीमा नहीं होती। इस प्रकार के अधिगम को आप जब चाहें जहाँ चाहें और जिस रूप में चाहें कर सकते हैं।
आप इस प्रकार की लर्निंग को गेम,लाइव वीडियो,रिकॉर्ड वीडियो,ऑडियो,टीवी,इंटरनेट या अन्य माध्यमों से कर सकते हैं। उदाहरण के तौर में हम समझें तो यदि आपके मन में कोई प्रश्न आता हैं या आपको किसी सूचना की आवश्यकता होती हैं तो आप सीधें इंटरनेट की सहायता लेते हैं। वह भी ई-लर्निंग के अंतर्गत आने वाली लर्निंग हैं।
वर्तमान समय में दुनिया डिजिटल की ओर अग्रसर हो रही हैं। सभी व्यापार ऑनलाइन दिशा की ओर बढ़ रहे हैं। उसी तरह शिक्षा का भी ऑनलाइन क्षेत्र में विस्तार हो रहा हैं। आप ऑनलाइन कोई भी पाठ्यक्रम या पाठ्यक्रम से जुड़ा topic के बारे में जान सकते हैं या practical उसे देख सकते हैं।
यहाँ तक कि वर्तमान समय मे आप अपना मूल्यांकन (Evaluation) भी ऑनलाइन माध्यम से पूर्ण कर सकते हैं। ई-लर्निंग छात्रों में खुद से सीखने के कौशल का विकास करती हैं। यह छात्रों की लर्निंग जिज्ञासाओं का विकास करती हैं। इसकी सहायता से हम किसी एक टॉपिक को Text या Video दोनों रूपों में पढ़ या देख सकते हैं।
अगर एक उपकरण से हमें टॉपिक क्लियर न हो तो हम उसी टॉपिक को दूसरे उपकरण के माध्यम से सीख सकते हैं। आधुनिक समय मे social media शिक्षा प्राप्त करने का एक महत्वपूर्ण साधन बन गया हैं। जिस कारण लोग tv कम और सोशल मीडिया में ज्यादा रुचि दिखाने लग गए हैं। वहाँ वह अपनी रुचि अनुसार बिना मानसिक दबाव के ज्ञान अर्जन कर लेते हैं।
ई-लर्निंग के प्रकार |Types of E-Learning
1. Video Based Learning – इस प्रकार के अधिगम (Learning) में हम देख कर सीखने हैं। इस तरह का सीखना हमें ज्ञान और अनुभव दोनों प्रदान करता हैं। इस तरह से सीखने में लोगों की रुचि अधिक होती हैं। सोशल मीडिया में अपलोड होने वाली ऐसी अनगिनत वीडियो होती हैं। जिन्हें देख कर हम कुछ न कुछ जरूर सीखते हैं।
2. Audio Based Learning – इस प्रकार की लर्निंग साउंड आधारित होती हैं। इस प्रकार का अधिगम हम सामान्यतः Group Phone Calls और Radio के माध्यम से प्राप्त करते हैं।
3. Group Based Learning – यह ग्रुप आधारित लर्निंग होती हैं। इसमें हम वीडियो या ऑडियो दोनों रूपों में अधिगम करते हैं। यह इंटरनेट आधारित लर्निंग होती हैं।
4. Text Based Learning – इस प्रकार की लर्निंग हम अपने Web Browser से Internet के माध्यम से प्राप्त करते हैं। इंटरनेट में ऐसी अनेकों वेबसाइट होती हैं। जिनसे हमें हमारे प्रश्नों के उत्तर प्राप्त होते हैं।
5. Application Based Learning – इस प्रकार की लर्निंग में हम App के माध्यम से लर्निंग करते हैं। इस प्रकार की लर्निंग कक्षा आधारित होती हैं। जो series आधारित होती हैं। इस प्रकार की E-Learning Free और Paid दोनों होती हैं।
6. Course Based Learning – इस प्रकार की ई-लर्निंग वीडियो,ऑडियो या फ़ोटो (Notes) आधारित हो सकती हैं। इसमें बुद्धिजीवी लोग किसी क्षेत्र के लिए कोर्स चैनल,एप्पलीकेशन या सोशल चैनल बनाते हैं। यह एक प्रकार का Online Coaching Institute की तरह काम करता हैं।
ई-लर्निंग कहाँ से करें |Popular E-Learning Platforms
● Google – गूगल आपको आपके सभी प्रश्नों के उत्तर देने का कार्य करता हैं। इसके माध्यम से आप अनेकों प्रकरण से संबंधित तथ्यों के संबंध में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। इसके अंतर्गत अनेक विषय ज्ञात हैं जो अपने ज्ञान के भंडार को Blog के माध्यम से शेयर करते हैं।
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● Youtube – यूट्यूब एक ऐसा प्लेटफॉर्म हैं जहाँ आपको टेक्स्ट के साथ-साथ प्रैक्टिकल भी मिल जाता हैं।इसके माध्यम से आप देख कर ई-लर्निंग कर सकते हैं। इसमें कई ऐसे यूट्यूबर हैं जो अनेक प्रकार की कोचिंग करवाते हैं।
ई-लर्निंग करने के लाभ |Advantage of e-learning
● इसके माध्यम से आप अपनी रुचि के अनुसार लर्निंग कर सकते हैं।
● इसमें स्थान महत्व नहीं रखता अर्थात आप जब चाहें जहाँ चाहें वहाँ लर्निंग कर सकते हैं।
● इसके माध्यम से छात्रों में खुद से सीखने के कौशल (Skills) का विकास होता हैं।
● इसमें लर्निंग करने की कोई सीमा नहीं होती। छात्र जिस टॉपिक या जिस क्षेत्र में चाहें उसमें ज्ञान प्राप्त कर सकते हैं।
● ई-लर्निंग व्यक्तिगत और समूह दोनों रूपों में हो सकती हैं।
ई-लर्निंग करने के नुकसान |Disadvantage of E-Learning
● इस प्रकार की लर्निंग में सही सूचना का अभाव होता हैं। इसमें छात्रों को Real Experience नहीं मिल पाता।
● इसमें छात्र लर्निंग के समय कोई प्रतिक्रिया नहीं कर सकते अर्थात छात्रों को टॉपिक से संबंधित समस्याओं का समाधान मिलने में देरी होती हैं।
● इस प्रकार की लर्निंग में Communication Skills का विकास नही हो पाता।
● ऐसे क्षेत्र जो पूर्ण रूप से विकसित नहीं हैं या जिनको फ़ोन चलाना नहीं आता। वह इस प्रकार की शिक्षा प्राप्त करने में असमर्थ रहते हैं।
● इस प्रकार की शिक्षा प्राप्त करने के बाद छात्रों को इस प्राप्त की गई शिक्षा की कोई मान्यता नहीं मिलती।
निष्कर्ष |Conclusion
ई-लर्निंग शिक्षा प्राप्त करने का वह अवसर हैं जो छात्रों को अधिगम के प्रति सक्रिय रखने का कार्य करता हैं। यह शिक्षा रुचि पर आधारित (Based on Interest) शिक्षा होती हैं। यह छात्रों को कुछ नया और अधिक सीखने की ओर अग्रसर करता हैं।
इसके माध्यम से छात्र कठिन टॉपिक को सरलता से उदाहरण के माध्यम से समझ सकता हैं। यह शिक्षा की जटिलताओं को सरल बनाता हैं।
तो दोस्तों आज आपने हमारी इस पोस्ट के माध्यम से जाना कि ई-लर्निंग क्या हैं और कहाँ से करें। (What is E-Learning in Hindi) अगर आपको हमारी यह पोस्ट पसंद आई हो तो अपने विचारों को हमारे साथ जरूर शेयर करें।